छत्तीसगढ़

दही हांडी प्रतियोगिता कल, 75 से 80 टीमें होंगे शामिल

Dahi Handi competition tomorrow, 75 to 80 teams will participate

00 11 लाख के इनाम के लिए जुटेंगे देशभर के गोविंदा
00 इंडियन आइडल पवनदीप और भजन गायिका गीता बेन के साथ पूनम-दिव्या तिवारी बांधेंगे समां
रायपुर। छत्तीसगढ़ की संस्कारधानी रायपुर में 11 लाख रुपये के इनामी दही हांडी प्रतियोगिता में 75 से 80 गोविंदा की टीमें देश भर से आने वाली है जिसमें जगदलपुर, कांकेर, राजनांदगांव, जबलपुर, भंडारा और नागपुर की टीमें रायपुर पहुंच चुकी है और कुछ टीमें कल पहुंचेंगी। यह प्रतियोगिता सार्वजनिक दही हांडी उत्सव समिति एवं श्री हनुमान मंदिर ट्रस्ट के तत्वावधान में रविवार को अवधपुरी मैदान, श्री नगर रोड, गुढिय़ारी में सुबह 4 बजे से किया जा रहा है जिसमें विजेताओं को कुल इनाम राशि 11 लाख रुपये दिया जाएगा जिसमे पुरुष दही हांडी 7 लाख रुपये, महिला दही हांडी 2 लाख रुपये, ग्रीस युक्त खंभा हांडी 2 लाख रुपये, 100 लोगों की टोली को 21 हजार रुपए , 50 लोगों टोली को 11 हजार रुपये के साथ भाग लेने वाली सभी टीमों को सांत्वना पुरस्कार राशि भी दिया जाएगा। प्रत्येक टोली को 20 मिनट का समय दिया जाएगा और किसी भी विवाद की स्थिति में समिति का निर्णय सर्वमान्य होगा। इस अवसर पर प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा, अरुण साव के अलावा मंत्रीमंडल के अन्य सहयोगीगण के साथ शहर के चारो विधायक, साधु-संत के साथ ही अन्य गणमान्य उपस्थित उपस्थित रहेंगे।

संयोजक बसंत अग्रवाल व सह-संयोजक हेमेंद्र साहू, वंश अग्रवाल, सोवदत्त के अलावा श्री हनुमान मंदिर ट्रस्ट के सदस्यगणों ने संयुक्त पत्रकारवार्ता में बताया कि गोविंदा टोलियों के उत्साहवर्धन और दर्शकों के मनोरंजन के लिए इस बार इंडियन आइडल चैंपियन पवनदीप राजन अपनी सुरीली आवाज का जादू बिखेरेंगे, तो वहीं विश्व विख्यात भजन गायिका गीता बेन रबारी अपने भजनों से पूरे माहौल को कृष्णमय कर देंगी। आपको बता दें कि गीता बेन रबारी भारत सहित देश विदेश की महिलाओं में काफी लोकप्रिय है। साथ ही राष्ट्रपति द्वारा सम्मानित छत्तीसगढ़ की लोकप्रिय गायिका पूनम-दिव्या तिवारी भी अपनी प्रस्तुतियों से समां बांधेंगी। ओडिशा के कलाकारों द्वारा पारंपरिक “घंटा बाजा” और ग्रीस युक्त खंभे पर चढऩे की प्रतियोगिता विशेष आकर्षण का केंद्र रहेगी।

संयोजक बसंत अग्रवाल ने बताया कि छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों के साथ-साथ ओडिशा, मध्यप्रदेश, झारखंड और महाराष्ट्र जैसे राज्यों से गोविंदा टोलियां प्रतियोगिता में हिस्सा लेने आ रही हैं। अब तक रायपुर, दुर्ग, राजनांदगांव, बेमेतरा, कवर्धा की 30 स्थानीय टोलियों समेत कई महिला टोलियों ने भी अपना पंजीयन करा लिया है। इसके अलावा महाराष्ट्र, इंदौर तथा जबलपुर की प्रसिद्ध गोविंदा टोलियों ने भी अपनी सहभागिता सुनिश्चित की है। दो वर्ष कोरोना काल के कारण यह आयोजन संभव नहीं हो पाया था, लेकिन अब यह अपने 16वें वर्ष में पूरी भव्यता के साथ लौट आया है। समिति ने हजारों की संख्या में आने वाले दर्शकों और गोविंदा टोलियों की सुविधा और सुरक्षा के लिए पुख्ता इंतजाम किए हैं। दर्शकों के लिए बैठने की समुचित व्यवस्था की गई है। प्रशासन के सहयोग से चप्पे-चप्पे पर पुलिस बल तैनात रहेगा। किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए प्राथमिक उपचार केंद्र और एम्बुलेंस की व्यवस्था भी मौके पर मौजूद रहेगी। समिति ने यह भी स्पष्ट किया है कि प्रतियोगिता के दौरान किसी भी गोविंदा टोली के साथ होने वाली दुर्घटना की जिम्मेदारी स्वयं टोली की होगी, इसके लिए समिति जिम्मेदार नहीं होगी।

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